Dehradun : उत्तराखंड: शहर की शान बन गई थी इलेक्ट्रिक बसें, ठप हो गया संचालन - Khabar Uttarakhand - Latest Uttarakhand News In Hindi, उत्तराखंड समाचार

उत्तराखंड: शहर की शान बन गई थी इलेक्ट्रिक बसें, ठप हो गया संचालन

Reporter Khabar Uttarakhand
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cm pushkar singh dhami

cm pushkar singh dhami

देहरादून: देहरादून स्माटै सिटी के तहत चल रही इलेक्ट्रिक बसों का संचालन ठप हो गया है। स्मार्ट सिटी प्राइवेट लिमिटेड कंपनी की ओर से संचालित की इलेक्ट्रिक बसों के पहिये आज से थम गए हैं। बस चला रहे चालक और परिचालकों को पिछले तीन माह से वेतन ही नहीं मिला है। ऐसे में बसों का संचालन करने से कर्मचारियों ने मना कद दिया और बसों को खड़ा कर दिया।

बसें ट्रांसपोर्टनगर में कार्यशाला में खड़ी कर दीं। कंपनी के अधिकारियों ने ट्रांसपोर्टनगर पहुंचकर चालक-परिचालक से वार्ता शुरू कर दी है। फिलहाल बसों का संचालन ठप है। स्मार्ट सिटी कंपनी के तहत शहर में पहले चरण में 21 फरवरी-2021 से आइएसबीटी-राजपुर मार्ग पर पांच स्मार्ट इलेक्ट्रिक बस संचालित की गई थीं। इसके बाद अप्रैल में कोरोना की दूसरी लहर चरम पर होने पर बस संचालन रोकना पड़ा। जून में दोबारा बसों का संचालन शुरू हुआ। इसके बाद सरकार ने पांच और बसों को दो अलग-अलग मार्गों पर शुरू किया।

10 बसें संचालित हो रही हैं। बस संचालन की जिम्मेदारी मैसर्स एवरी ट्रांस कंपनी के हवाले है। स्मार्ट सिटी कंपनी एवं मैसर्स एवरी ट्रांस में पीपीपी मोड में करार है। जिसके अंतर्गत बस भी मैसर्स एवरी ट्रांस उपलब्ध कराएगी और संचालन की पूरी जिम्मेदारी संभालेगी। इस एवज में स्मार्ट सिटी कंपनी की ओर से मैसर्स एवरी ट्रांस को 66.78 रुपये की प्रति किमी की दर से भुगतान किया जाता है। इनमें बस चालक कंपनी जबकि परिचालक रोडवेज की ओर से उपलब्ध कराए गए हैं।

बस चालक का वेतन मैसर्स ट्रांस कंपनी देती है, जबकि परिचालक के वेतन के लिए स्मार्ट सिटी कंपनी राज्य परिवहन निगम को पांच रुपये प्रति किमी के हिसाब से भुगतान करती है। आरोप है कि परिचालकों को दो माह से वेतन नहीं मिला है, जबकि चालकों का तीन माह से वेतन लंबित है। वेतन नहीं मिलने से गुस्साए चालक-परिचालकों ने कंपनी के खिलाफ मोर्चा खोल शुक्रवार सुबह से ही स्मार्ट बसों का संचालन रोक दिया।

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