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USA: विमान का दरवाजा हवा में खुलने के बाद 170 से ज्यादा 737 मैक्स विमानों की उड़ान पर रोक

Renu Upreti
3 Min Read
USA: Flight of more than 170 737 Max planes banned after plane door opened in air

अमेरिका के एयर सेफ्टी रेगुलेटर ने शनिवार को बोइंग के 170 से ज्यादा 737 मैक्स 9 विमानों की उड़ान पर रोक लगा दी है। एयर सेफ्टी रेगुलेटर का यह फैसला ओरेगॉन की घटना के बाद आया है, जिसमें बोइंग के विमान का बीच हवा में दरवाजा टूट गया। इससे विमान में सवार सभी यात्रियों की जान पर बन आई। इसके बाद विमान की इमरजेंसी लैंडिंग करानी पड़ी। अमेरिका के फेडरल एविएशन एडमिनिस्ट्रेशन ने बोइंद के 737 मैक्स 9 विमानों की तुरंत जांच का निर्देश दिया है। इसके बाद ही इन विमानों की उड़ान शुरु हो सकेगी।

फेडरल एविएशन ने दिए जांच के निर्देश

फेडरल एविएशन एडमिनिस्ट्रेशन के इस फैसले से बोइंग के 171 विमान प्रभावित होंगे। अलास्का और यूनाइटेड एयरलाइंस सबसे ज्यादा संख्या में बोइंग के 737 मैक्स 9 विमानों का संचालन करती हैं। ऐसे में इस फैसले से इन दोनों एयरलाइंस पर सबसे ज्यादा प्रभाव पड़ेगा। बोइंग ने बताया कि कंपनी ने दुनियाभर में 218 बोइंग मैक्स विमानों की बिक्री की है। शुक्रवार की घटना के बाद से अलास्का एयरलाइंस ने भी अपने सभी 65 बोइंग 737 मैक्स 9 विमानों की उड़ान पर रोक लगा दी थी।

विमान की कराई इमरजेंसी लेंडिंग

बता दें कि अलास्का एयरलाइंस के जिस विमान का दरवाजा बीच हवा में टूटा, उसमें घटना के वक्त 171 यात्री सवार थे। एयरलाइंस की फ्लाइट ने पोर्टलैंड इंटरनेशनल एयरपोर्ट से उड़ान भरी थी। उड़ान भरने के कुछ देर बाद ही विमान के क्रू को विमान में हवा के दवाब की स्थिति का सामना किया। इसके कुछ देर बार ही विमान का विंडो पैनल टूट गया। यह विमान का इमरजेंसी एग्जिट डोर था। जिसके बाद विमान की वापस पोर्टलैंड एयरपोर्ट पर इमरजेंसी लैंडिग कराई गई।

737 मैक्स विमान पहले भी सवालों के घेरे में

बोइंग का 737 मैक्स विमान पहले भी सवालों के घेरे में आ चुका है। कंपनी ने साल 2015 में इसे बनाया था और 2017 में फेडरल एविएशन अथॉरिटी ने इसकी उड़ान की मंजूरी दी थी। इसके बाद यह दुनिया में सबसे ज्यादा इस्तेमाल किया जाने वाला विमान बन गया। साल 2018 में इंडोनेशियाई एयरलाइन का यह विमान पहली बार क्रैश हुआ, जिसमें 189 लोगों की मौत हुई थी। इसके बाद 2019 में भी यह प्लेन क्रैश हुआ, जिसमें 157 लोगों की जान गई। इस पर एफएए ने इन विमानों की उड़ानों पर रोक लगा दी थी। कंपनी ने इसके बाद प्लेन के डिजाइन में कई बदलाव किए और इन विमानों को फिर से उड़ान की इजाजत मिली थी।

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