Ram Mandir प्राण प्रतिष्ठा कार्यक्रम में मुख्य जजमान की भूमिका निभा रहे प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी को प्राण प्रतिष्ठा के तीन दिन पहले कठिन व्रत और संयम से गुजरना होगा। यम नियम के तहत पीएम बिस्तर की जगह लकड़ी की चौकी पर कंबल बिछाकर शयन करेंगे। अंतिम दिन सिर्फ फलाहार पर तो प्राण प्रतिष्ठा वाले दिन पूरी तरह से उपवास पर रहेंगे। बता दें कि उल्लेखनीय है कि यम नियम के तहत ही पीएम मोदी बीते शुक्रवार से व्रत और कई नियमों का पालन कर रहे हैं। इसी क्रम में पीएम मोदी 12 जनवरी से लगातार एक समय के उपवास पर हैं।
यम नियम और पूजा पद्धति के मुताबिक पीएम 19 जनवरी से 21 जनवरी तक पूर्ण रुप से फलहार पर निर्भर रहेंगे। प्राण प्रतिष्ठा वाले दिन उन्हें पूर्ण उपवास करना होगा। इस दौरान पीएम मोदी शास्त्रों के नियम के मुताबिक चुनिंदा मंत्रों का जाप करेंगे।
तीन दिन पहले करेंगे सामान्य बिस्तर का त्याग
यम नियम के मुताबिक पीएम मोदी प्राण प्रतिष्ठा से तीन दिन पहले सामान्य बिस्तर का त्याग करेंगे। प्राण प्रतिष्ठा वाले दिन वह लकड़ी की चौकी पर कंबल बिछा कर सोएंगे। 11 दिनों के यम नियम में पीएम को हर दिन शास्त्रों के मुताबिक अलग-अलग कार्य करने होंगे। इसी नियम के तहत पीएम को अंतिम दिन अन्न त्याग कर सिर्फ फलाहार पर निर्भर रहना होगा।
Ram Mandir में होगी जटायु मूर्ति की पूजा
प्राण प्रतिष्ठा वाले दिन पीएम मोदी राम मंदिर परिसर में बने जटायु की मूर्ति की पूजा करेंगे। जटायु की मूर्ति की स्थापना विशेष रुप से मंदिर आंदोलन में अपना जीवन न्यौछावर करने वाले बलिदानियों की स्मृति में की गई है। पूजा के दौरान कार सेवा के दौरान शहीद हुए बलिदानियों के परिजन भी मौजूद रहेंगे। इसी दिन मोदी राम मंदिर निर्माण में जुटे मजदूरों के साथ भी संवाद करेंगे।
डॉ.अनिल मिश्र होंगे मुख्य यजमान
रामलला की प्राण प्रतिष्ठा के मुख्य यजमान श्रीराम जन्मभूमि तीर्थ क्षेत्र ट्रस्ट के सदस्य डॉ.अनिल मिश्र हैं। यजमान के रूप में उन्होंने मंगलवार को प्रायश्चित पूजन में हिस्सा लिया। अब वे सात दिनों तक यजमान की ही भूमिका में रहेंगे।