Haridwar : बड़ी खबर : कोरोना दवा पर बुरे फंसे बाबा, पूछा-किट न्यूज चैनलों पर दिखाने की परमिशन कहाँ से मिली - Khabar Uttarakhand - Latest Uttarakhand News In Hindi, उत्तराखंड समाचार

बड़ी खबर : कोरोना दवा पर बुरे फंसे बाबा, पूछा-किट न्यूज चैनलों पर दिखाने की परमिशन कहाँ से मिली

Reporter Khabar Uttarakhand
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ankita lokhande

ankita lokhandeदेहरादून : बीते दिन मंगलवार को बाबा रामदेव ने कोरोना पर असर करने वाली दवा कोरोनिल किट को लॉन्च किया था लेकिन कुछ ही घंटों बाद अब पतंजलि की कोरोना से लड़ने वाली दवा सवालों के घेरे में आ गई है। जी हां एक ओर जहां केंद्रीय आयुष मंत्रालय ने बाबा रामदेव की दवा कोरोनिल के प्रचार प्रसार पर रोक लगाई तो वहीं अब उत्तराखंड आयुर्वेद विभाग ने बाबा रामदेव और पतंजलि को झटका दिया है एक के बाद एक कई सवाल पूछे हैं। विभाग तीन नोटिस पतंजलि को भेजने की तैयारी में है। इसकी जानकारी एएनआई ने ट्वीट कर दी है।

दवा बनाने का कोई लाइसेंस जारी नहीं किया गया है-उत्तराखंड आयुर्वेद विभाग

उत्तराखंड आयुर्वेद विभाग की ओर से लाइसेंस ऑफिसर ने ट्वीट कर कहा कि पतंजलि को कोरोना की दवा बनाने का कोई लाइसेंस जारी नहीं किया गया है। 10 जून को पतंजलि ने 3 प्रोडक्ट्स इम्युनिटी बूस्टर,खांसी और बुखार के प्रोडक्ट के लिए आवेदन दिया था। 12 जून को अप्रूवल दिया गया पर उसमें कहीं भी कोरोना इलाज की दवा का जिक्र नहीं था।

पतंजलि के दावों को गलत बताते हुए नोटिस जारी किया- विभाग

उत्तराखंड आयुर्वेद विभाग लाइसेंस ऑफिसर वाई.एस. रावत का कहना है कि पतंजलि के कोरोना की दवा बनाने के दावे पर केंद्रीय आयुष मंत्रालय के रिपोर्ट मांगने के बाद उत्तराखंड सरकार के आयुर्वेद विभाग ने पतंजलि के दावों को गलत बताते हुए नोटिस जारी किया है।

कोरोना किट न्यूज चैनलों पर दिखाने की परमिशन कहाँ से मिली-अधिकारी

लाइसेंस ऑफिसर द्वारा नोटिस में पूछा गया कि पतंजलि को कोरोना किट न्यूज चैनलों पर दिखाने की परमिशन कहाँ से मिली। ड्रग्स एंड कॉस्मेटिक्स एक्ट1940 के नियम170 के तहत उत्पाद का विज्ञापन करने के लिए लाइसेंस अथॉरिटी से परमिशन लेनी होती है। DMRI 1954 के अंतर्गत इस तरह के क्लेम करना वैधानिक नहीं है:

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