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उत्तराखंड के लिए बुरी खबर : घर में चल रही थी शादी की तैयारियां, तिरंगे में लिपटा पहुंचा इकलौता बेटा

Reporter Khabar Uttarakhand
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ayodhaya ram mandir

ayodhaya ram mandirपौड़ी गढ़वाल : इतिहास गवाह है कि हर युद्ध में और हर युद्ध की जीत में उत्तराखंडियों का अहम योगदान रहा है। आज भी उत्तराखंड के युवा देश की रक्षा के लिए सेना में जाने को तत्पर हैं और देश की रक्षा करने के लिए सेना में भर्ती होने की तैयारी कर रहे हैं। अब तक देश के लिए कई उत्तराखंड के वीर जवानों ने बलिदान दिया है। जी हां उत्तराखंड के पौड़ी निवासी हर्षपति 24 साल की उम्र में देश की रक्षा करते हुए शहीद हो गए। ये उत्तराखंड सहित पूरे देश के लिए बुरी खबर है। जानकारी मिली है कि पौड़ी गढ़वाल के हर्षपति मणिपुर में तैनात थे जहां वो ड्यूटी के दौरान शहीद हो गये। हालांकि य़े जानकारी नहीं मिली है कि वो कैसे शहीद हुए। जानकारी मिली है कि हर्षपाली 39 असम राइफल में थे और मात्र 24 साल के थे। जवान हर्षपति सिंह पुत्र श्री बलवंत सिंह निवासी ग्राम भैंसोडा पोस्ट पांड, पोखरा, चौबटाखाल पौड़ी के मूल निवासी थे।

घर में चल रही थी शादी की तैयारियां, लॉकडाउन के कारण टाली गई थी शादी

वहीं बेटे की शहादत की खबर सुनते हैं परिवार में कोहराम मच गया। जहां बेटे की शादी की तैयारियों चल रही थी वहां मातम पसर गया। जानकारी मिली है कि पहले हर्षपति सिंह की शादी मई में होनी तय हुई थी लेकिन कोरोना के कहर और लॉकडाउन की वजह से नहीं हो पाई और शादी की तारीख अक्टुबर में तय की गई। बेटे के सिर पर सहरा नहीं बांध पाए। घर में बेटे की शादी की तैयारियों चल रही थी लेकिन किसे पता था कि उनका इकलौता बेटा तिरंगे में लिपटा पहुंचेगा। अपने इकलौते बेटे की शहादत की खबर से परिवार समेत पूरे गांव और क्षेत्र में शोक की कहर है।

4 बहनों के इकलौते भाई थे हर्षपाल

जानकारी मिली है कि शहीद की 4 बहनें हैं जिनकी शादी हो चुकी है। बहनें भाई को राखी भी नहीं बांध पाई और ना ही सिर पर सहरा बांध पाई। शहीद की शहादत को हम नमन करते हैं। सेना के जवान हमेशा से देश की रक्षा के लिए तत्पर रहते हैं। सैनिक अपनी औऱ अपने परिवार की परवाह किए बगैर अपने प्राणों की आहूति देने को तैयार रहते हैं और इसलिए हम आज चैन की जिंदगी जी रहे हैं।

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