हिस्ट्रीशीटर विकास दुबे को पकड़ने के लिए पूरी यूपी पुलिस एड़ी चोटी का जोर लगा रही है। 8 पुलिसकर्मियों की शहादत से यूपी पुलिस में शोक की लहर तो है ही साथ ही गुस्सा भी है विकास दुबे को लेकर और इससे भी बड़ा सदमा पुलिस को तब लगा जब जानकारी मिली कि विकास दुबे को खबर देने वाला कोई और नहीं बल्कि पुलिस वाले ही थे।
36 घंटे से भी ज्यादा का समय हो गया है लेकिन विकास दुबे का कुछ पता नहीं है। जानकारी मिली है कि विकास दुबे को पकड़ने के लिए 40 थानों की पुलिस जुटी है, 500 से ज्यादा फोन सर्विलांस पर हैं और 75 जिलों में सर्विलांस टीम के साथ पुलिस अलर्ट पर हैं. इतना ही नहीं विकास दुबे पर एक लाख रुपये का इनाम घोषित किया गया है.
हर ओर पुलिस ने फील्डिंग बिछाई है लेकिन इसके बावजूद विकास दुबे का कुछ पता नहीं है। न जाने विकास दुबे को आकाश निगल गया या जमीन खा गई इसका पता पुलिस को नहीं चल पा रहा है. विकास दुबे को फरार हुए 36 घंटे से ज्यादा हो गए हैं लेकिन वो अभी तक पुलिस की गिरफ्त से फरार है।
दरअसल घटना से दो दिन पहले विकास दुबे ने चौबेपुर के निलंबित थानाध्यक्ष विनय तिवारी के साथ मारपीट की थी. विकास दुबे ने एसओ विनय तिवारी का मोबाइल भी छीन लिया था. पिटने का बाद भी एसओ विनय तिवारी चुप रहे और इस पिटाई की जानकारी अपने सीनियर अधिकारियों को भी नहीं दी.