देहरादून : सीएम पुष्कर सिंह धामी की मां अधिकारियों को ऐसा संदेश दिया जिससे सबको सीख लेनी चाहिए. बता दें कि सीएम और उनके परिवार वालों के लिए तमाम सुख सुविधाएं होती है। उनके आगे पीछे सुरक्षा गार्ड होते हैं। वो चाहे तो कोई भी चीज और सुविधा उनके लिए बैठे बैठे घर आ जाए या घर में उपलब्ध करा दी जाए लेकि सीएम धामी की मां को बेटे के सीएम होने और खुद के सीएम की मां होने का जरा भी धमंड नहीं है.
ये हम इसलिए कह रहे हैं क्योंकि जहां शासन के नौकरशाह और अधिकारी बैठे बैठ हर सुख सुविधा मांगते हैं और सुरक्षा के लिए गार्ड की मांग करते हैं तो वहीं सीएम की मां ने उन सभी अधिकारियों को अच्छा और सादगी से जीवन जीने का संदेश दिया है। सीएम धामी की मां ने संदेश दिया कि सादगी में ही सुंदरता है। जरुरी नहीं की पद को हैसियत से गिने और अपने समेत परिवार के लिए सुख सुविधा की मांग करें। जनता के लिए काम करने के लिए जनता के बीच जाकर रहना होगा काम करना होगा ये संदेश दिया सीएम धामी की मां ने.
दरअसल सीएम पुष्कर सिंह धामी की आम लोगों की तरह डॉक्टर के परामर्श के लिए और जांच के लिए खुद जाती है। जबकि प्रोटोकॉल के तहत डॉक्टर चेकअप करने के लिए उनके आवास पर भी आ सकते हैं। लेकिन फिर भी जरा सा भी धमंड ना करते हुए और डिमांड ना करते हुए सीएम धामी की मां हर बार खुद ही सादे अंजाद में डॉक्टर के पास चेकअप के लिए जाती हैं। सीएम धामी की मां और उनके परिवार वालों का रहन सहन खान पान सादगी भरा है।
आपको बता दें कि ये तस्वीर कुछ दिन पुरानी है। इस तस्वीर में सीएम धामी की मां और उनकी बड़ी बहन देश के जाने माने न्यूरो सर्जन डॉ. महेश कुड़ियाल से चिकित्सा परामर्श लेने के लिए सीएमआई नर्सिंग होम पहुंचीं।और लोगों की तरह उन्होंने भी अपनी बारी का इंतजार किया।
आपको बता दें कि प्रोटोकाल के तहत डॉक्टर सीएम के आवास पर आ सकते हैं, लेकिन सीएम धामी की मां खुद ही अस्पताल जाती हैं। ये चर्चा का विषय बना हुआ है और सीएम धामी समेत उनके परिवार की जमकर तारीफ हो रही है। री